उत्तराखंड के कैंची धाम में भी रील्स बनाने पर लगा बैन, वीडियोग्राफी पर भी ऐक्शन; जानें क्या-क्या प्रतिबंधित……

देहरादून: केदारनाथ-गंगोत्री चारधाम के बाद अब कैंची धाम पर भी रील्स बनाने प्रतिबंध लगा दिया गया है। वीडियोग्राफी या फिर फोटोग्राफी करने पर भी सख्त ऐक्शन लिया जाएगा। इसके अलावा, पर्यटकों की भारी भीड़ को देखते हुए अतिरिक्त पुलिस फोर्स को तैनात करने का भी फैसला लिया गया है।

कैंची महोत्सव के दौरान 15 जून को मंदिर परिसर के आसपास वाहनों के हॉर्न बजाने और रील बनाने पर पाबंदी रहेगी। फोटोग्राफी, वीडियोग्राफी और धूम्रपान भी प्रतिबंधित रहेगा। जबकि इस दिन कैंची धाम से भवाली के बीच सड़क किनारे न तो कोई खोखा-फड़ लगाया जा सकेगा।

बताया कि न ही निशुल्क खाद्य और पेय पदार्थ वितरण किया जा सकेगा। यह निर्देश रविवार को डीएम वंदना सिंह ने जारी किए हैं। मजिस्ट्रेट और अधिकारियों की भी तैनाती कैंची मंदिर के स्थापना दिवस पर 15 जून को मंदिर परिसर में भव्य कार्यक्रम होना है।

डीएम वंदना सिंह ने पर्यटकों और श्रद्धालुओं की संभावित संख्या को देखते हुए कानून-शांति व्यवस्था बनाए जाने के लिए मजिस्ट्रेट व अधिकारी तैनात किए हैं। बताया कि पर्यटकों और श्रद्धालुओं की भारी भीड़ को देखते हुए अतिरिक्त पुलिस फोर्स भी तैनात किया जाएगा।

शिप्रा नदी में स्नान पर रहेगी रोक।
डीएम ने प्रभागीय वनाधिकारी नैनीताल वन प्रभाग को मंदिर परिसर व पुल के आसपास नदी में विशेष सतर्कता बरतने को कहा है। साथ ही शिप्रा नदी में स्नान पर रोक लगाने को कार्मिकों की तैनाती करनी होगी। वहीं, एडीएम प्रशासन को प्रशासन स्तर से सभी अधिकारियों से समन्वय बनाते हुए दिशा-निर्देश जारी करने होंगे।

रानीबाग तक व्यवस्था बनाएंगे सिटी मजिस्ट्रेट।
सिटी मजिस्ट्रेट हल्द्वानी को हल्द्वानी मार्ग से श्रद्धालुओं और पर्यटकों के आवागमन को देखते हुए हल्द्वानी से रानीबाग बाईपास तक सभी व्यवस्थाएं बनानी होगी। एसडीएम नैनीताल को भवाली चौराहे से भीमताल के बीच आवागमन पर नजर रखनी है।

एसडीएम हल्द्वानी को कैंची महोत्सव में पहुंचने वाले पर्यटकों और श्रद्धालुओं के लिए चलाई जा रही शटल सेवाओं को सुचारू रखना है। वहीं, आरटीओ (प्रवर्तन) को यात्रियों के अनुसार पर्याप्त वाहन उपलब्ध कराने व आरटीओ (प्रशासन) को हल्द्वानी में रहकर यातायात सुचारू रखने को कहा है।